लखनऊ :
उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम में नहीं आता है व्हाट्सएप: उपभोक्ता फोरम।।
दो टूक : लखनऊ के उपभोक्ता फोरम ने कहा है कि व्हाट्सएप सेवा उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम के अंदर नहीं आता है क्योंकि व्हाट्सएप का इस्तेमाल करने वाला व्यक्ति उपभोक्ता नहीं कहा माना जा सकता। क्योंकि इसके बदले कोई धनराशि नही देता और स्वेच्छा से प्ले स्टोर से डाउनलोड कर यूज करता है।
विस्तार:
आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमिताभ ठाकुर ने लखनऊ उपभोक्ता फोरम के सामने शिकायत की थी कि व्हाट्सएप कंपनी ने अनुचित ढंग से 24 घंटे तक उनके फोन पर व्हाट्सएप सेवाएं बाधित की, जिस प्रक्रिया में उनके करीब 24 मेगाबाइट डाटा का नुकसान हुआ. उन्होंने इस संबंध में क्षतिपूर्ति दिलवाए जाने की मांग की थी.
फोरम ने अपने आदेश में कहा कि किसी भी प्रकरण के उपभोक्ता फोरम द्वारा सुने जाने के लिए आवश्यक है कि संबंधित व्यक्ति उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम के धारा 2(7) में उपभोक्ता माना जाए. कोई व्यक्ति धारा 2(7) में तभी उपभोक्ता माना जा सकता है, जब उसने इसके लिए कोई संदाय किया हो और उसने इस हेतु कोई प्रतिफल दिया हो.
फोरम ने कहा कि जब एक व्यक्ति व्हाट्सएप को प्ले स्टोर से डाउन करता है तो वह पूरी तरह स्वैच्छिक सेवा है और वह व्यक्ति इस सेवा का उपयोग करने के लिए किसी भी प्रकार की धनराशि व्हाट्सएप को नहीं देता है।
फोरम ने कहा कि अगर व्हाट्सएप से सेवा के दौरान किसी प्रकार के डाटा की क्षति हुई है तो अमिताभ ठाकुर इसके लिए दांडिक न्यायालय में जा सकते हैं, किंतु वह उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम में किसी भी प्रकार से उपभोक्ता नहीं माने जा सकते। अतः फोरम ने वाद को प्राथमिक स्तर पर खारिज कर दिया।