लखनऊ :
सिक्खों ने फिल्म अरदास व बीबी रजनी को टैक्स फ्री की मांग।
विविदित फिल्म इमरजेंसी पर प्रतिबंध की मांग ।
दो टूक : राजधानी लखनऊ गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की प्रेस कॉन्फ्रेंस, दिनांक 16/9/2024 को प्रेस क्लब में आयोजित की गई।
स.राजिंदर सिंह बग्गा ने प्रेस को अवगत कराया की कंगना रनौत की फिल्म इमरजेंसी के आपत्ति जनक दृश्यों पर स्थिति स्पष्ठ नही है। दिनांक 18/9/2024 को माननीय उच्च न्यायायल बॉम्बे ने इस संदर्भ मे केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड की रिपोर्ट के बाद ही फैसला देना है।
स. हरपाल सिंह जग्गी महासचिव ने इस श्रंखला में प्रेस बन्धुओ को अपने अभिभाषण में स्पष्ट किया कि सेंसर बोर्ड मुम्बई को लखनऊ गुरुद्वारा प्रबन्धक कमेटी के महासचिव स. हरपाल सिंह जग्गी एवम संस्था के अधिकृत अधिवक्ता स.जसबीर सिंह राजू बक्शी द्वारा पत्र इस विषय पर भेजा गया था जिसमे विशेष तौर से आग्रह किया गया था कि इस फिल्म से सिख समाज को अलगाववादी दिखाया जा रहा है जो गलत है जिसे एवम अन्य आपत्तिजनक दृश्यों को क्या फिल्म से हटाये तथा एस.जी.पी.सी.अमृतसर, दिल्ली गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी , जबलपुर सिख संगत,अन्य सिख समुदायों एवं लखनऊ गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की संतुष्टी के बाद ही इमरजेंसी फ़िल्म का प्रमाण पत्र जारी करे।
कंगना रनौत को भी लखनऊ गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी अधिवक्ता जसबीर सिंह राजू बख्शी द्वारा विधिक नोटिस जारी कर आग्रह किया गया था कि वो स्वतः इमरजेंसी फिल्म के विवादित दृश्यों को केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड से हटवाने के पश्चात ही प्रमाण पत्र प्राप्त करे तथा इसके अतिरिक्त उनके द्वारा पूर्व में भी किसानों एवम सिक्ख समुदाय के प्रति विवादित नफ़रत भरी झूठी बयानबाज़ी की गई है जिसमें किसानों को बलात्कारी भी कहा गया उसको वापस ले।
लखनऊ गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने कंगना को नोटिस के माध्यम से सूचित किया कि हम सिक्खों के ह्रदय अत्यंत विशाल है,आप द्वारा की गई सिक्खों के विरुद्ध हरकतों को इस शर्त पर माफ किया जा सकता है वह अपने सभी विवादित बयान को वापस लेकर गुरुद्वारे जाकर क्षमा मांगे तथा जोड़े घर की सेवा और लंगर की सेवा कर प्रायश्चित करे।
अत्यंत खेदपूर्ण है कि कंगना द्वारा न तो नोटिस का उत्तर दिया गया ना कोई उचित कार्यवाही की गई ।
ज़ी एंटरटेनमेंट एंटरप्राइज और कंगना रनौत (दोनो प्रोड्यूसर्स) द्वारा लखनऊ गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के नोटिस और विभिन्न माननीय उच्च न्यायालयों द्वारा पारित आदेशों को छुपाते हुए माननीय उच्च न्यायालय मुम्बई के समक्ष रिट दाखिल कर इमरजेंसी फ़िल्म का प्रमाण पत्र जारी करने का आग्रह किया जा रहा है जिसमें इनके द्वारा किसी भी सिक्ख समुदाय को पक्षकार नही बनाया गया तथा माननीय न्यायालय को गुमराह करने का अपराध किया गया है ।
लखनऊ गुरुद्वारा प्रबन्धक कमेटी के प्रवक्ता स. सतपाल सिंह मीत ने कहा कि इस संबंध में सिक्खों के सम्मान के लिये हम आखरी सांस तक तन मन धन से न्याय प्राप्त करने के लिए लड़ाई लड़ेंगे और ज़रूरत पड़ने पर माननीय उच्च न्यायालय मुम्बई में पक्षकार बनने की दरखास्त देकर न्याय मांगेगी। भारत सरकार को इस प्रकरण में हस्तक्षेप की आवश्यकता है।ऐसे सांसद को तत्काल पदमुक्त करना चाहिए।
इस संदर्भ में सचिव हरपाल सिंह जग्गी और जसबीर सिंह राजू बक्शी अधिकृत अधिवक्ता लखनऊ गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने सेंसर बोर्ड को धारा 23, 24,व 26 CINEMATOGRAPH CERTIFICATION RULES 1983 के अंतर्गत पूनः इमरजेंसी फ़िल्म के विवादित दृश्यों को हटाने के बाद फ़िल्म का प्रमाण पत्र जारी करने का आग्रह किया है। कंगना रनौत को पूनः विधिक नोटिस जारी कर अपनी गलतियों को सुधार करने, फ़िल्म के विवादित दृश्यों को हटाने को कहा गया है अन्यथा हमारी समिति उसके विरूद्ध धारा 295आ एवं अन्य धारा में फौजदारी वाद दाखिल करेगी ।
राजिंदर सिंह बग्गा प्रधान, महासचिव ,हरपाल सिंह जग्गी, सरदार तेजपाल सिंह रोमी, स. सतपाल सिंह मीत, जसबीर सिंह राजू बक्शी अधिवक्ता ने संयुक्त रूप से अवगत कराया कि लखनऊ गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी द्वारा माननीय मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश सरकार को सिखों के इतिहास पर बनी दो नवीनतम फ़िल्म "बीबी रजनी व फ़िल्म " अरदास (सरबत दे भले दी)" जो सिनेमा घरों में लगी है उनको टैक्स फ्री करने की मांग की है ताकि गरीब से गरीब व्यक्ति, सिख और अन्य सभी समुदाय के लोग सिख इतिहास की जानकारी प्राप्त कर सकें।
समिति द्वारा ये जानकारी भी दी गई की पूर्व में दीपिका पादुकोण की फिल्म पद्मावती को लेकर राजपूत समुदाय ने इतिहास को गलत तरीके से फिल्म पद्मावती में दिखाये जाने का विरोध किया था जिस पर सेंसर बोर्ड ने संज्ञान लेकर फिल्म में जरूरी संशोधन करने के बाद ही फिल्म को प्रकाशित करने की अनुमति दी थी l
इस प्रेस वार्ता में इंद्र सिंह उपाध्यक्ष गुरुद्वारा सदर राजवंत सिंह बग्गा ,कुलदीप सिंह जसबीर सिंह आदि सम्मानित सदस्य उपस्थित थे।