लखनऊ :
वृन्दावन योजना में प्लॉट दिलाने का झांसा देकर 9लाख की ठगी,दे रहा धमकी।
दो टूक : लखनऊ के थाना पीजीआई क्षेत्र में रहने वाले दो लोगों को एक व्यक्ति ने वृन्दावन योजना में प्लॉट दिलाने का झांसा देकर 9 लाख रुपए ठग लिए, न प्लॉट दिलाया और न ही पैसे वापस दिए,पीड़ितों ने पुलिस कमिश्नर को प्रार्थना पत्र देते हुए न्याय की गुहार लगाई है।
विस्तार :
मिली जानकारी के अनुसार अनूप कुमार सिंह, निवासी बरियारपुर, डिधावां, सेमरावा, हैदरगढ़ बाराबंकी हाल पता-जगत खेड़ा कल्ली पश्चिम लखनऊ व मनीष कुमार निवासी डिधावां सेमरावा,हैदरगढ़ जनपद बाराबंकी ने बताया कि उन्हें वृन्दावन योजना में प्लॉट लेने की इच्छा जताई। इसी दौरान इनकी मुलाकात अभिनेन्द्र विक्रम सिंह निवासी-ग्राम-बहरेला, देवी गंज, बनी कोडर, बाराबंकी, हाल पता मकान नं-512, सेक्टर-12बी, वृन्दावन योजना, नियर सुभारम्भ मोटो डिटेयलिंग, स्टुडियो & कार स्पा, लखनऊ से हुई थी।
अभिनेंद्र विक्रम सिंह ने वृंदावन योजना (लखनऊ) मे मकान दिलाने का झांसा दिया,इसके कुल नौ लाख रुपए (9,00,000) अपने खाते में ट्रांसफर करा लिए।
जिसमें अनूप कुमार सिंह का ढाई लाख रुपए व मनीष कुमार से साढ़े छ लाख (6,50,000/-) हमने अपने-अपने खाते से सितम्बर 2022 से जनवरी 2023) के बीच अभिनेन्द्र विक्रम सिंह को रुपए उनके खाते मे दिया, जिसके बाद पिछले 2 वर्षों से अभिनेन्द्र विक्रम सिंह कोई मकान नहीं दिलवा पाया , मकान के बारे में पूछे जाने कोई सही उत्तर नहीं देता,अब फोन करने पर अभद्रता करता है। जब उससे मिलने उसके घर गए तो जान से मारने की धमकी दी, उसके बाद फोन नंबर ब्लॉक कर दिया है।
◆कैंसिल चेक से और रूपए निकालने का किया प्रयास।।
अनूप कुमार सिंह ने बताया कि उन्होंने पत्नी साधना सिंह के खाते की एक कैन्सल चेक संख्या-066353 (सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया) को अभिनेन्द्र विक्रम सिंह दिनांक 26.09.2022 दिया था, उसी समय व दिन अभिनेन्द्र विक्रम सिंह ने साधना सिंह के खाते की एक चेक संख्या-066363 (सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया) बिना जानकारी दिये चुरा लिया, जिसको कि अभिनेन्द्र विक्रम सिंह ने फर्जी हस्ताक्षर बना कर, बैंक में 12 लाख रुपए निकासी हेतु 17.12.2024 को लगा दिया, जिसकी सूचना मिलते ही साधना सिंह, ने बैंक सहायक (कस्टमर केयर) से टेलिफोनिक सम्पर्क करके उसको दिनांक 17.12.2024 को रुकवा दिया। नहीं तो 12 लाख रुपए और ठग लेता। पीड़ित ने न्याय की गुहार लगाई है।
इंस्पेक्टर पीजीआई रवि शंकर त्रिपाठी ने बताया कि ऐसी कोई घटना या शिकायत जानकारी में नहीं है।